Samsung, Apple व अन्य कई मोबाइल कंपनियां अब भारत में ही करेंगी मैन्युफैक्चरिंग
दूरसंचार और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविंशंकर प्रसाद ने कहा- 12 लाख लोगों को मिलेगा रोजगार
नई दिल्ली. मोबाइल हैंडसेट की निर्माता कंपनियों के संगठन इंडिया सेल्युलर एंड इलेक्ट्रॉनिक्स एसोसिएशन (आईसीईए) के चेयरमैन पंकज महिंद्रू ने एक बयान में कहा कि पीएलआई के तहत कंपनियों ने कुल 11,000 करोड़ रुपए के निवेश की प्रतिबद्धता जताई है। इसमें 11.50 लाख करोड़ रुपए मूल्य के मोबाइल फोन का विनिर्माण किया जाना है। इसका 60 प्रतिशत निर्यात किया जाएगा। इससे करीब 3 लाख प्रत्यक्ष रोजगार पैदा होंगे।


उन्होंने इसे सरकार की मेक इन इंडिया और आत्मनिर्भर भारत अभियान के लक्ष्यों को पाने की प्रतिबद्धता बताया। महिंद्रू ने कहा कि इससे घरेलू स्तर पर विनिर्मित होने वाले मोबाइल फोन का मूल्यवर्धन बढ़कर 35-40 प्रतिशत हो जाएगा। यह अभी 15 से 20 प्रतिशत है। इससे भारत में मोबाइल फोन का निर्माण दो से बढ़कर ढाई गुना हो जाने का अनुमान है।
इंडिया सेल्युलर एंड इलेक्ट्रॉनिक्स एसोसिएशन (आईसीईए) एप्पल (Apple), फॉक्सकॉन (Foxconn), विस्ट्रॉन (Wistron), लावा (Lava) इत्यादि कंपनियों का प्रतिनिधित्व करने वाली प्रतिनिधि संस्था है।


दूरसंचार और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने घोषणा की है कि पीएलआई के तहत देसी-विदेशी कुल 22 कंपनियों ने आवेदन किया है। इससे करीब 12 लाख लोगों को रोजगार के अवसर उपलब्ध होंगे। प्रसाद ने कहा कि सरकार की 41,000 करोड़ रुपए की उत्पादन से प्रोडक्शन लिंक्ड इनसेंटिव (PLI) स्कीम के तहत कराए हैं।


जानकारी के अनुसार सैमसंग, विस्ट्रॉन (Samsung Wistron), पेगाट्रॉन (Pegatron), फॉक्सकॉन (Foxconn) और होन हे (Hon Hai) जैसी वैश्विक कंपनियों के साथ-साथ लावा (Lava), डिक्सॉन (Dixon), माइक्रोमैक्स (Micromax), पैजेट इलेक्ट्रॉनिक्स (Padget Electronics), सोजो (Sojo), यूटीएल (UTL) और ऑप्टिमस (Optiemus) जैसी घरेलू कंपनियों ने भी पीएलआई (PLI) के तहत आवेदन किया है। इन कंपनियों ने अगले पांच साल में 11 लाख करोड़ रुपए मूल्य के मोबाइल फोन विनिर्माण का लक्ष्य रखा है। आईसीईए के अनुसार इन कंपनियों के घरेलू विनिर्माण करने से देश में 27.5 लाख करोड़ रुपए मूल्य के मोबाइल फोन का उत्पादन होने का अनुमान है।